सोने की चमक घटी, चांदी की कीमतों में हुआ इजाफा - एसएमसी कमोडिटी

बाजारों में स्पष्ट रुझानों के अभाव के कारण कमोडिटीज का कारोबार एक दायरे में हुआ।

सीआरबी इंडेक्स की साप्ताहिक गिरावट की कुछ रिकवरी हुई, लेकिन डॉलर के मजबूत होने और अनुमान से कमजोर आँकड़ों के कारण बढ़त 190-191 तक ही सीमित रही। निवेशकों की नजर इस हफ्ते अमेरिकी ब्याज दरों में संभावित बढ़ोतरी पर रहने के कारण प्रमुख करेंसियों के मुकाबले डॉलर में मजबूती दर्ज की गयी। लेकिन अगले वर्ष में फेड की मौद्रिक नीति को लेकर अनिश्चितता बरकरार रहने के कारण बढ़त सीमित रही।
एनर्जी में, कच्चे तेल की कीमतों में तेजी से बढ़त दर्ज की गयी, लेकिन मिली-जुली खबरों के कारण बढ़त पर रोक लग गयी। गुरुवार को आईईए ने माना है कि तेल उत्पादन में कटौती को लेकर ओपेक और रूस के बीच समझौते और कनाडा द्वारा सप्लाई में कटौती करने से विश्व तेल बाजार में अनुमान से पहले ही कमी हो सकती है। 06 दिसंबर को वियना में हुई बैठक में ओपेक के साथ रूस, ओमान और अन्य देश जनवरी से तेल उत्पादन में 1.2 बैरल प्रतिदिन की कटौती पर सहमत हो गये हैं। पिछले हफ्ते अमेरिकी नेचुरल गैस की माँग में कमी की संभावना से भी गैस की कीमतों में गिरावट हुई।
सर्राफा की कीमतें नरमी के रुझान के साथ एक दायरे में रही। सोने की कीमतों में थोड़ी गिरावट हुई, जबकि चांदी की कीमतें कॉमेक्स में एक दायरे में और एमसीएक्स में मामूली बढ़त के साथ बंद हुईं। ब्रिटिश प्रधानमंत्री टेरेसा मे द्वारा ब्रेक्जिट पर मतदान में देरी किये की आशंका से सोमवार को पाँच महीने के उच्च स्तर 1,256.60 डॉलर पर पहुँची सोना वायदा की कीमतें एक दायरे में रही और बाजार का पूरा ध्यान फेड की 18-19 दिसंबर को होने वाली बैठक के फैसलों पर रहा।
बेस मेटल में केवल तांबे में तेजी का रुझान रहा और शेष बेस मेटल की कीमतें गिरावट के साथ बंद हुईं। (शेयर मंथन, 17 दिसंबर 2018)