एलएंडटी को इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन से बड़ा ऑर्डर मिला

लार्सन एंड टूब्रो के हाइड्रोकार्बन ऑनशोर डिविजन को इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन से बड़ा ऑर्डर मिला है। कंपनी को यह ऑर्डर 2500-5000 करोड़ रुपये की रेंज में मिला है।

 आईओसी (IOC) पानीपत रिफाइनरी विस्तार योजना को लागू करने की दिशा में काम कर रही है। कंपनी की विस्तार योजना लागू कर रिफाइनरी क्षमता बढ़ाने का लक्ष्य है। कंपनी मौजूदा रिफाइनरी क्षमता 15 MMTPA से बढ़ाकर 25 MMTPA करने की है। पेट्रोलियम उत्पादों की बढ़ती मांग को पूरा करने के मकसद से कंपनी विस्तार योजना में तेजी ला रही है।कंपनी रिफाइनरी क्षमता बढ़ाकर मुनाफे के साथ लंबी अवधि में बढ़ रहे कंपीटिशन का भी फायदा उठाना चाहती है। कंपनी को आईओसी से ईपीसीसी (इंजीनियरिंग,प्रोक्योरमेंट, कंस्ट्रक्शन और कमीशनिंग) के लिए कॉन्ट्रैक्ट मिला है। कंपनी को पी-25 प्रोजेक्ट के लिए आरएचसीयू (RHCU) यानी Residue Hydrocracker Unit स्थापित करने के लिए कॉन्ट्रैक्ट मिला है। कंपनी को यह कॉन्ट्रैक्ट अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मंगाई गई कंपीटिटिव बिडिंग के तहत मिली है। आरएचसीयू को फ्रांस के Axens से लाइसेंस मिला है। यह कॉन्ट्रैक्ट लंप संप टर्नकी (Lump Sum Turnkey LSTK) आधार पर मिला है। इससे पहले कंपनी को पी-25 प्रोजेक्ट के लिए ईपीसीसी (EPCC) कॉन्ट्रैक्ट मिला था। इसके तहत डीएचडीटी (DHDT) यूनिट (5 MMTPA) क्षमता वाले प्रोजेक्ट की है। इसके लिए शेल (SHELL) से लाइसेंस मिला था। कंपनी के वरिष्ठ कार्यकारी वाइस प्रेसिडेंट (एनर्जी) के मुताबिक, हमें इस बात की खुशी हो रही है कि मैं आईओसीएल के पानीपत रिफाइनरी के विस्तार प्रोजेक्ट से जुड़ा हूं। आईओसीएल को कंपनी में भरोसा जताने के लिए धन्यवाद देता हूं। एलएंडटी एनर्जी के हाइड्रोकार्बन कारोबार के तहत ऑफशोर, ऑनशोर,कंस्ट्रक्शन सर्विसेज, मोड्यूलर फैब्रिकेशन और एडवांस वैल्यू इंजीनियरिंग टेक्नोलॉजी (AdVENT) की दिशा में काम करती है। कंपनी घरेलू के अलावा अंतरराष्ट्रीय ग्राहकों के लिए काम करती है। कंपनी को इस कारोबार में 3 दशक से ज्यादा का अनुभव है। लार्सन एंड टूब्रो का कारोबार विश्वभर के 50 से ज्यादा देशों में फैला है। कंपनी पिछले आठ दशक से कई क्षेत्रों में काम कर रही है।

(शेयर मंथन 22 अगस्त, 2022)