
शेयर बाजार ने कारोबारी हफ्ते के अंतिम दिन शुक्रवार को अच्छे वैश्विक संकेतों के बीच मजबूत शुरुआत की, मगर यह ऊपरी स्तरों पर टिक नहीं पाया।
शुरुआती मिनटों में ही सेंसेक्स (Sensex) 25,876 तक का ऊँचा स्तर देखने के बाद यह लगातार फिसलता रहा और आखिरी घंटे में लाल निशान में जा कर 25,530 तक गिरा। अंत में यह सँभल कर लगभग सपाट हो गया और केवल 12 अंक या 0.05% की गिरावट के साथ 25,610 पर बंद हुआ। इसी तरह निफ्टी (Nifty) 7865 के ऊपरी स्तर और 7760 के निचले स्तर तक झूलने के बाद अंत में यह केवल एक अंक या 0.02% ऊपर 7789 पर बंद हुआ।
छोटे-मँझोले सूचकांकों ने थोड़ा बेहतर रुझान दिखाया। बीएसई मिडकैप में 0.17% और बीएसई स्मॉलकैप में 0.73% की मजबूती नजर आयी। एनएसई में सीएनएक्स मिडकैप में 0.31% की बढ़त दर्ज हुई, जबकि सीएनएक्स स्मॉलकैप 0.79% की अच्छी मजबूती के साथ बंद हुआ। इसी वजह से चढ़ने-गिरने वाले शेयरों का अनुपात सकारात्मक रहा। बीएसई में चढ़ने वाले 1471 शेयरों की तुलना में गिरने वाले शेयरों की संख्या 1180 रही।
हालाँकि विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) की ओर से बिकवाली का रुझान जारी रहा। एक्सचेंजों के पास उपलब्ध आँकड़ों के मुताबिक नकद श्रेणी में एफआईआई ने शुक्रवार को 754 करोड़ रुपये की शुद्ध बिकवाली की। इसकी तुलना में घरेलू संस्थागत निवेशकों (DII) ने 411 करोड़ रुपये की शुद्ध खरीदारी की।
क्षेत्रवार देखें तो बीएसई में रियल्टी सूचकांक (0.73%), आईटी (0.44%), एफएमसीजी (0.42%) और कंज्यूमर ड्यूरेबल्स (0.30%) हरे निशान में रहे। मगर दूसरी ओर धातु (-1.53%), कैपिटल गुड्स (-0.52%), तेल-गैस (-0.32%) और ऑटो (-0.29%) कमजोर रहे। बैंकिंग सूचकांक बिल्कुल सपाट रहा। (शेयर मंथन, 11 सितंबर 2015)
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