वर्ष दर वर्ष आधार पर 2018 की अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में हिंदुस्तान पेट्रोलियम (Hindustan Petroleum) के मुनाफे में 87.3% की गिरावट आयी।
2017 की समान तिमाही में 1,949.69 करोड़ रुपये के मुकाबले कंपनी ने 247.55 करोड़ रुपये का मुनाफा कमाया। हालाँकि हिंदुस्तान पेट्रोलियम की शुद्ध आमदनी में इजाफा हुआ, जो कि 62,831.71 करोड़ रुपये से 25.4% की बढ़ोतरी के साथ 72,111.82 करोड़ रुपये हो गयी। मगर कंपनी का एबिटा 69.8% की गिरावट के साथ 963.20 करोड़ रुपये और एबिटा मार्जिन 420 आधार अंक गिर कर 1% रह गया।
गौरतलब है कि कंपनी का सकल रिफाइनिंग मार्जिन (जीआरएम) 7.51 डॉलर प्रति के मुकाबले 5.17 प्रति डॉलर रहा। बता दें कि सकल रिफाइनिंग मार्जिन प्रत्येक बैरल कच्चे तेल को ईंधन में बदलने पर होने वाली आय को दर्शाता है।
वहीं हिंदुस्तान पेट्रोलियम की क्रूड प्रवाह क्षमता (Crude throughput) 45 लाख टन 1.3% की बढ़त के साथ 45.6 लाख टन और पाइपलाइन प्रवाह क्षमता (Pipeline throughput) 51.7 लाख टन से 1% अधिक 52.2 लाख टन रही। साथ ही कंपनी की घरेलू बिक्री 92.3 लाख टन के मुकाबले 2.3% की बढ़ोतरी के साथ 94.4 लाख टन रही।
प्रमुख ब्रोकिंग फर्म आईसीआईसीआई सिक्योरिटीज ने कंपनी के वित्तीय नतीजों को मुनाफे के मामले में कमजोर बताया है। ब्रोकिंग फर्म ने हिंदुस्तान पेट्रोलियम के 354.7 करोड़ रुपये के मुनाफे का अनुमान लगाया था।
मुनाफे में भारी गिरावट के बावजूद आज हिंदुस्तान पेट्रोलियम के शेयर में मजबूती है। बीएसई में हिंदुस्तान पेट्रोलियम का शेयर 225.00 रुपये के पिछले बंद स्तर की तुलना में हल्की बढ़त के साथ 226.50 रुपये पर खुल कर 232.25 रुपये के ऊपरी स्तर तक चढ़ा। 10.40 बजे के आस-पास कंपनी का शेयर 3.55 रुपये या 1.58% की मजबूती के साथ 228.55 रुपये पर चल रहा है। (शेयर मंथन, 06 फरवरी 2019)
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