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दिल्ली उच्च न्यायालय ने खारिज की एटीएम से असीमित मुफ्त निकासी संबंधित याचिका

दिल्ली उच्च न्यायालय (Delhi High Court) ने उपभोक्ताओं द्वारा अपने बैंक (Bank) के एटीएम (ATM) से असीमित मुफ्त निकासी पर अधिकतम सीमा तय किये जाने के खिलाफ दायर की गयी याचिका खारिज कर दी।

मुख्य न्यायाधीश राजेंद्र मेनन और न्यायाधीश वीके राव की बेंच ने गुरुवार को अपने फैसले में कहा कि बैंकों द्वारा एटीएम सुविधा पर सुरक्षाकर्मी का वेतन और बिजली का खर्च आदि जैसे कई ऊपरी खर्चे आते हैं, इसलिए एटीएम से असीमित लेन-देन की सुविधा नहीं हो सकती।
न्यायालय ने कहा कि एटीएम लगाने और इसके रखरखाव पर भी लागत आती है और यदि इस मामले में दखल देने पर बैंक एटीएम बंद कर दें तो यह संकटपूर्ण होगा। आरबीआई के निर्देशों के मुताबिक 6 मेट्रो शहरों (दिल्ली, मुंबई, चेन्नई, कोलकाता, हैदराबाद, और बेंगलुरु) में उपभोक्ता अपने बैंक के एटीएम से महीने में केवल पाँच बार मुफ्त लेन-देन कर सकते हैं, जबकि इसके बाद प्रति लेन-देन पर 20 रुपये का शुल्क लगेगा। अदालत ने यह भी कहा कि उपभोक्ता महीने में हर अतिरिक्त लेन-देन पर 20 रुपये का शुल्क वहन कर सकते हैं। (शेयर मंथन, 18 अगस्त 2018)

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