टायर निर्माता कंपनी एमआरएफ ने 30 सितंबर 2015 को खत्म हुई दूसरी तिमाही के दौरान मुनाफे में 45.38% की भारी वृद्धि दर्ज की और कंपनी का तिमाही मुनाफा 460.73 करोड़ रुपये पर पहुँच गया।
कंपनी ने जुलाई-सितंबर 2014 की तिमाही के दौरान 316.91 करोड़ रुपये का मुनाफा कमाया था। तिमाही मुनाफे का आँकड़ा अनुमानों से बेहतर रहा। हालाँकि बीती तिमाही के दौरान कंपनी की बिक्री में गिरावट दर्ज की गयी, मगर कच्चे माल की लागत काफी घटने से मुनाफे में अच्छी बढ़त संभव हो सकी।
जुलाई-सितंबर 2015 की तिमाही के दौरान इसकी कुल बिक्री 3,327.21 करोड़ रुपये रही, जो पिछले साल की समान अवधि में दर्ज 3359.91 करोड़ रुपये की बिक्री से 6.2% कम है। बिक्री का यह आँकड़ा बाजार विश्लेषकों के अनुमानों से कमजोर रहा। वहीं तिमाही एबिटा मार्जिन 18.1% से सुधर कर 24.1% हो गया। कंपनी के निदेशक मंडल ने आज अपनी बैठक में 3 रुपये प्रति इक्विटी शेयर की दर से अंतरिम लाभांश (डिविडेंड) देने की घोषणा की।
बीएसई में आज एमआरएफ का शेयर भाव एक समय 40,532.55 रुपये के निचले स्तर तक फिसल गया था। पर बाद में इसमें कुछ सुधार हुआ और यह अंत में 495.95 रुपये या 1.20% की गिरावट के साथ 40748.50 रुपये पर बंद हुआ। (शेयर मंथन, 29 अक्तूबर 2015)
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