भारत की प्रमुख आईटी कंपनी विप्रो (Wipro) ने जर्मनी की आईटी कंसल्टिंग और सॉफ्टवेयर सेवा कंपनी सेलेंट एजी (Cellent AG) को खरीदने का समझौता किया है।
इसके लिए विप्रो ने लैंडेसबैंक बेडेन-वर्टमबर्ग (एलबीबीडब्लू) के साथ समझौते पर दस्तखत किये हैं। सेलेंट को खरीदने के लिए विप्रो 7.35 करोड़ यूरो यानी लगभग 518 करोड़ रुपये का भुगतान करेगी। विप्रो ने एक बयान में जानकारी दी है कि सेलेंट जर्मनी, ऑस्ट्रिया और स्विटजरलैंड में पिछले 14 वर्षों से आईटी सॉल्यूशन और सेवाएँ उपलब्ध करा रही है। सेलेंट के पास 800 से ज्यादा कंसल्टेंट हैं, जो अब विप्रो का हिस्सा बन जायेंगे। विप्रो ने कहा है कि इस अधिग्रहण के लिए नियामक स्वीकृतियाँ लेने की जरूरत होगी। इसे उम्मीद है कि यह अधिग्रहण अगले साल 31 मार्च तक पूरा हो जायेगा।
विप्रो ने यह घोषणा आज बुधवार को बाजार बंद होने के बाद की है। बुधवार के कारोबार में विप्रो ने हरियाली के साथ शुरुआत की थी, मगर बाद में यह लाल निशान में फिसल गया। बीएसई में यह 3.70 रुपये या 0.64 की गिरावट के साथ 577.75 रुपये पर बंद हुआ। (शेयर मंथन, 02 दिसंबर 2015)
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