कारोबारी हफ्ते के आखिरी दिन भारतीय शेयर बाजार के प्रमुख सूचकांक तेज गिरावट के साथ बंद हुए।
कमजोर वैश्विक संकेतों और रुपये में भारी गिरावट से बाजार पर दबाव बढ़ा।
अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया 61 के मनोवैज्ञानिक स्तर से पार चला गया है।
कारोबार के दौरान निफ्टी (Nifty) 7,600 के मनोवैज्ञानिक स्तर से नीचे लुढ़क गया, लेकिन अंत में इस स्तर से ऊपर लौट आया।
कारोबार के अंत में सेंसेक्स (Sensex) 414 अंक यानी 1.60% की गिरावट के साथ 25,481 पर रहा। निफ्टी 119 अंक यानी 1.54% गिर कर 7,603 पर बंद हुआ। सीएनएक्स मिडकैप (CNX Midcap) में 0.69% की गिरावट रही। बीएसई मिडकैप (BSE Midcap) में 0.80% और बीएसई स्मॉलकैप (BSE Smallcap) में 0.99% की गिरावट रही। क्षेत्रों के लिहाज से आज कंज्यूमर ड्यूरेबल्स और तेल-गैस में सबसे ज्यादा बिकवाली का रुख रहा।
नकारात्मक एशियाई संकेतों के बीच घरेलू बाजार की शुरुआत कमजोरी के साथ हुई। शुरुआती कारोबार में बाजार में एक बेहद सीमत दायरे में कारोबार होता रहा। हालाँकि इसके बाद बाजार की गिरावट में कमी आती चली गयी। निफ्टी 7,700 के स्तर को पार कर गया। इस दौरान सेंसेक्स 25,863 और निफ्टी 7,717 दिन के ऊपरी स्तरों पर रहे, लेकिन निफ्टी जल्द ही इस स्तर से नीचे लुढ़क गया।कमजोर यूरोपीय संकेतों के बीच घरेलू बाजार पर दबाव बढ़ा। दोपहर के कारोबार में बाजार तेजी से लुढ़कता चला गया। इस दौरान निफ्टी 7,600 के स्तर से नीचे फिसला। सेंसेक्स 25,459 और निफ्टी 7,594 दिन के निचले स्तरों तक लुढ़क गये। हालाँकि कारोबार के आखिरी मिनटों में निफ्टी 7,600 के स्तर से ऊपर लौटने में कामयाब रहा। आखिरकार सेंसेक्स-निफ्टी आज के कारोबार में गिरावट के साथ बंद हुए।
क्षेत्रों के लिहाज से आज कंज्यूमर ड्यूरेबल्स क्षेत्र को सबसे ज्यादा 3.27% का घाटा हुआ। तेल-गैस में 2.16%, कैपिटल गुड्स-धातु दोनों में 1.90% व 1.90%, पावर में 1.87%, हेल्थकेयर में 1.58%, आईटी में 1.52%, टीईसीके में 1.08%, ऑटो में 1.04% और रियल्टी में 1.03%, एफएमसीजी में 0.95% और बैंकिंग में 0.90% की गिरावट रही। (शेयर मंथन, 01 अगस्त 2014)
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