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बाजार में बड़ी हलचल से पहले के दो कारोबारी दिन

राजीव रंजन झा : लोकसभा चुनाव के नौ में से आठ चरणों का मतदान पूरा हो चुका है और अब केवल 12 मई को होने वाले अंतिम चरण के मतदान का इंतजार है। उम्मीद है कि 12 मई की शाम से ही विभिन्न चैनलों पर एक्जिट पोल के नतीजे आने लगेंगे, जिनसे बाजार को इन चुनावों के नतीजों का पहला पुख्ता संकेत मिल सकेगा।

हालाँकि एक्जिट पोल के परिणामों को एकदम पुख्ता संकेत मानने के अपने जोखिम भी हैं, जो हमें 2004 और 2009 के अनुभवों से स्पष्ट होते हैं। मगर बाजार के सामने एक्जिट पोल के आधार पर प्रतिक्रिया करने के अलावा कोई और विकल्प होगा नहीं। इस तरह अब उस बड़ी प्रतिक्रिया के पहले के केवल दो कारोबारी दिन बाकी बचे हैं – एक तो आज शुक्रवार 9 मई का और फिर सोमवार 12 मई का।

दिलचस्प यह है कि चुनावी प्रक्रिया शुरू होने से भी पहले से ही जबरदस्त उत्साह दिखा रहे बाजार ने इस बड़ी घटना से ठीक पहले अपने जोश को जरा हल्का कर लिया है। सेंसेक्स अपने ताजा-ताजा रिकॉर्ड स्तर 22,939 से साढ़े छह सौ अंक से ज्यादा या करीब 3% नीचे आ चुका है। इसी तरह निफ्टी भी 6870 के उच्चतम स्तर से कल की तलहटी 6639 पर 231 अंक या 3.36% नीचे था।

अप्रैल 2014 के अंतिम दिनों से ही बाजार ने ऊपर चढ़ने में अपनी हिचक को स्पष्ट कर दिया था। लेकिन अब तक सेंसेक्स और निफ्टी अप्रैल की तलहटी को बचाये रखने की कोशिश भी कर रहे थे। परसों बुधवार के कारोबार में निफ्टी ने अप्रैल की तलहटी 6650 को तोड़ दिया और 6643 तक गिरा। कल फिर इसने 6650 और 6643 से नीचे जा कर 6639 तक का निचला स्तर छुआ।

ये संकेत अच्छे नहीं लग रहे। लेकिन अभी गनीमत यही है कि सेंसेक्स ने अभी अप्रैल के निचले स्तर 22,198 को नहीं तोड़ा है। अगर सेंसेक्स भी अप्रैल की तलहटी के नीचे फिसल गया तो बाजार में मुनाफावसूली का दबाव बढ़ जायेगा।

महत्वपूर्ण यह है कि अप्रैल की तलहटी के पास ही सेंसेक्स और निफ्टी के लिए फरवरी-अप्रैल 2014 की पूरी उछाल की 23.6% वापसी के स्तर भी हैं। सेंसेक्स की फरवरी की तलहटी 19,963 से 22,939 के शिखर तक की उछाल की 23.6% वापसी 22,237 पर है। इसके नीचे 38.2% वापसी 21,802 पर और 50% वापसी 21,451 पर है। इसलिए मोटे तौर पर अगर सेंसेक्स 22,200 के नीचे गया तो यह 21,800 और फिर 21,500 की ओर फिसल सकता है।

इसी तरह निफ्टी के लिए फरवरी-अप्रैल की 5,933-6,870 की उछाल की 23.6% वापसी 6,649 पर है। अप्रैल की तलहटी भी 6,650 पर है। इन स्तरों से पक्के तौर पर फिसलने पर 38.2% वापसी का अगला सहारा 6,512 पर और फिर 50% वापसी का अगला स्तर 6,402 पर होगा।

बेहद छोटी अवधि के लिहाज से निफ्टी की संरचना खराब होती लग रही है। अगर आज यह फिर से पिछले दिन के निचले स्तर 6,639 को तोड़ कर नीचे जाने लगे तो इसे दबाव बढ़ने के स्पष्ट संकेत के रूप में देखना चाहिए। वैसी हालत में कम-से-कम 6,600 तक फिसल जाना तो स्वाभाविक ही होगा। छोटी अवधि के लिए अगले बड़े सहारे लगभग 6,520 और फिर 6,433 पर होंगे, क्योंकि निफ्टी ने 14 मार्च को 6,433 पर ही एक छोटी तलहटी बनायी थी।

दूसरी ओर छोटी अवधि के लिए सकारात्मक संभावनाएँ बनने की पहली शर्त अब यह दिखती है कि निफ्टी 6,700 पार करके इसके ऊपर टिके। केवल आज के नजरिये से थोड़ी सकारात्मक उम्मीदें तभी बनेंगी, अगर यह 6,670 को पार करे। वहीं 6,650 के नीचे जाने पर आज फिर से कमजोरी के आसार बनने लगेंगे और 6,639 के नीचे जाना स्पष्ट रूप से खतरनाक होगा ही। Rajeev Ranjan Jha

(शेयर मंथन, 09 मई 2014) 

 

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