अब हो रहा है जमीनी हकीकत का अनुभव
राजीव रंजन झा
एक अरसे तक जमीन-जायदाद (रियल एस्टेट) के व्यवसाय में लगी कंपनियाँ हकीकत को नकारने में लगी थीं। वे भले ही मान रही थीं कि बिक्री की मात्रा कुछ घटी है, लेकिन कीमतें घटने के बारे में उनका जवाब नकारात्मक ही रहता था। उस समय अगर बीते कुछ महीनों में गिरावट आने की बात वे मानती भी थीं, तो भविष्य में गिरावट की संभावना साफ नकारती थीं। लेकिन अब इडेलवाइज के एक सर्वेक्षण में 63% प्रॉपर्टी ब्रोकरों ने यह माना कि अगले 3 महीनों के दौरान कीमतें घटने की संभावना है। तीन महीने पहले के सर्वेक्षण में ऐसा मानने वालों की संख्या केवल 29% थी। प्रॉपर्टी ब्रोकरों का जो बड़ा तबका पहले कीमतें और घटने की संभावना को नकार रहा था, वह हाल के दिनों में गलत साबित होने के बाद अब भविष्य में भी कीमतें घटने की संभावना देख रहा है। हकीकत का अहसास सबसे ज्यादा दिल्ली-एनसीआर में दिखता है, जहाँ निकट भविष्य में कीमतें घटने की संभावना देखने वालों की संख्या 13% से बढ़ कर 77% हो गयी है।